Govt Scheme 2

भारत के अंदर पर्यटन उद्योग का सदैव ही देश की अर्थव्यवस्था के अंदर मुख्य योगदान रहा है। यह न केवल रोजगार के अवसर प्रदान करता है बल्कि सांस्कृतिक आदान-प्रदान को भी महत्त्व प्रदान करता है तथा स्थानीय व्यवसायों को समर्थन भी देता है। हालाँकि, पर्यटन के तेजी से विकास के द्वारा इसके नकारात्मक प्रभावों को भी जन्म दिया गया है, जिसमें पर्यावरणीय गिरावट, भीड़भाड़ तथा स्थानीय समुदायों का शोषण भी सम्मिलित है।
Swadesh Darshan 2.0 कार्यक्रम क्या है?
इन चुनौतियों का निधान करने हेतु तथा सतत पर्यटन को महत्त्व प्रदान करने हेतु, केंद्रीय पर्यटन मंत्रालय की ओर से 2014 के अंदर स्वदेश दर्शन योजना (Swadesh Darshan Scheme – SDS) आरंभ की गई। स्वदेश दर्शन योजना का मकसद संपूर्ण भारत देश के अंदर थीम-आधारित पर्यटक सर्किट का विकसित करना है, जैसे कि आध्यात्मिक, विरासत तथा इको-टूरिज्म सर्किट। इस योजना की स्थिरता तथा सामुदायिक भागीदारी में गिरावट के लिए आलोचना भी हुई थी।

संशोधित स्वदेश दर्शन 2.0 कार्यक्रम

आलोचना के उत्तर के रूप में, पर्यटन मंत्रालय के द्वारा स्वदेश दर्शन 2.0 (SD2.0) कार्यक्रम आरंभ किया गया है, जो सतत तथा जिम्मेदार पर्यटन स्थलों को विकसित करने की कोशिश करता है। SD2.0 का मकसद उद्योग के अंदर निजी क्षेत्र के निवेश में वृद्धि हुए पर्यटन के नकारात्मक प्रभावों को दूर करने तथा जिम्मेदार पर्यटन प्रथाओं को महत्त्व प्रदान करने से है।
SD2.0 कार्यक्रम के द्वारा, केंद्र सरकार के द्वारा 15 राज्यों के 30 शहरों को टिकाऊ तथा जिम्मेदार स्थलों के रूप में विकसित करने हेतु चयन किया गया है। चुने हुए शहरों के अंदर गुजरात में द्वारका तथा धोलावीरा, गोवा के अंदर कोलवा तथा पोरवोरिम व बिहार के अंदर नालंदा तथा गया सम्मिलित हैं।

गंतव्य प्रबंधन की ओर शिफ्ट

SD2.0 कार्यक्रम थीम बेसिस पर्यटक सर्किट से गंतव्य प्रबंधन की तरफ एक परिवर्तन को इंगित करता है। गंतव्य प्रबंधन के अंदर पर्यटन विकास हेतु एक व्यापक दृष्टिकोण सम्मिलित है जो पर्यटन के पर्यावरणीय, सामाजिक तथा आर्थिक प्रभावों पर सोच विचार करता है।
SD2.0 कार्यक्रम का मकसद पर्यटन विकास प्रक्रिया के अंदर स्थानीय समुदायों को सम्मिलित करके स्थायी पर्यटन प्रथाओं को महत्त्व प्रदान करना है। यह पर्यटन अवसंरचना को विकसित करने की भी कोशिश करता है जो स्थानीय पर्यावरण तथा संस्कृति के प्रति संवेदनशील भी हो।

SD2.0 प्रोग्राम के अपेक्षित लाभ

SD2.0 कार्यक्रम से भारत के अंदर पर्यटन उद्योग को कई लाभ मिलने की भी आशा है। सर्वप्रथम, यह टिकाऊ पर्यटन प्रथाओं को महत्त्व प्रदान करेगा, जो पर्यावरण तथा स्थानीय समुदायों पर पर्यटन के नकारात्मक प्रभावों में गिरावट करेगा। द्वारा, यह रोजगार के नए मौके लगेगा तथा स्थानीय व्यवसायों का समर्थन भी करेगा। तीसरा, यह पर्यटन उद्योग के अंदर निजी क्षेत्र के निवेश को आकर्षित भी करेगा, जो देश के आर्थिक विकास के अंदर योगदान प्रदान करेगा।

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